Dhanbad : आठ लेन सड़क पर अशर्फी अस्पताल और बिरसा मुंडा पार्क के बीच शान ए पंजाब होटल के पास सोमवार को भीषण सड़क हादसा हुआ था। जिसमें मेमेको मोड़ से विनोद बिहारी चौक की और तेज रफ्तार से आ रही एसयूवी अचानक डिवाइडर बनते हुए दूसरी लेन पर आ गई। वहीं दूसरे और गुजर रही एक स्कूटी को जोरदार टक्कर मार कर पलट गई। हादसे में स्कूटी सवार इशिका हीरो (19 वर्षीय) और उनकी बहन जिया सोरोन हीरो (14 वर्षीय) की मौत हो गई। मंगलवार को पोस्टमार्टम कर दोनों बहनों का अंतिम संस्कार गोमो में होगा।
बता दें कि जिया भूली डीनोलीबली स्कूल के नौवीं की छात्रा थी फैशन डिजाइन का कोर्स कर रही इशिका को स्कूल की छुट्टी होने पर रिसीव कर स्कूटी से लाने ट्यूलिप गार्डन स्थित अपने आवास लौट रही थी। दोनों बम उच्च विद्यालय मलखेरा के प्रभारी व शिक्षक नेता जय हीरो की पुत्री थी। हादसे की व्यवस्था का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है की स्कूटी के सारे पुर्जे अलग हो गए। जबकि इशिका का हेलमेट चूर-चूर हो गया। इशिका ने मौके पर ही दम तोड़ दिया। जबकि जिया को अशर्फी अस्पताल लाने पर डॉक्टरों ने मृत्यु बताया। एसयूवी धनसार अनुग्रह नगर में रहने वाले एक ठेकेदार का 16 वर्षीय बेटा ड्राइविंग कर रहा था। जबकि फ्रंट सीट पर अनुग्रह नगर में ही उनका 17 साल का रिश्तेदार सवार था। (दोनों के नाबालिक होने के कारण हम दोनों की पहचान नहीं बता सकते हैं) पलटने के बाद एसयूवी का एयरबैग खुल गया और दोनों की जान बच गई। दोनों को एसयूवी से निकलकर लोग पास एक दुकान पर ले गए। वे उन्हें पीटने पर उतारू थे। सूचना पर पहुंची पुलिस उन्हें बचाकर थाने ले गई। लोगों ने बताया कि जब एसयूवी ने डिवाइडर लांघी उस समय उसकी स्पीड 110 से 120 के आसपास थी।
गुस्साए लोगों ने कहा एसयूवी सवार को लोगों के हवाले करो
घटना के बाद उग्र लोग उग्र हो गए एसयूवी सवार दोनों नाबालिक को दुकान से बाहर निकालने की मांग करने लगे। इसको लेकर काफी हंगामा हुआ। विरोध में लोगों ने कुछ देर तक सड़क जाम कर भी दिया। सूचना मिलने पर डीएसपी संदीप कुमार गुप्ता, डीएसपी शंकर कमती, सदर थाना प्रभारी प्रमोद पांडे, बरवाअड्डा थाना प्रभारी मौके पर पहुंचे। स्थिति को देखते हुए पुलिस लाइन से अतिरिक्त बल मंगवाया गया। 4 घंटे बाद पुलिस दोनों नाबालिक को भीड़ से सुरक्षित निकाल पाने में कामयाब हुए।
मेमको मोड़ में चेकिंग के कारण बदला था रास्ता
नाबालिक ने बताया कि सर्वमंगला नर्सिंग होम में उसकी एक रिश्तेदार भर्ती है। उसे देखकर वह वापस घर जा रहे थे। मेमेको मोड़ पर पुलिस चेकिंग की वजह से उन्हें बिरसा मुंडा पार्क होकर जाने का फैसला किया था।
एनएचएआई के इंजीनियर लाल मुनी सिंह ने बताया कि इस तरह के हादसे गाड़ी की तेज रफ्ता के कारण होती है। आठ लेन में 1 फीट ऊंचाई के डिवाइडर है। कोई गाड़ी अगर 90 किलोमीटर प्रति घंटा से अधिक स्पीड में हो और चालक गाड़ी को नियंत्रित नहीं कर पाया तो डिवाइडर फांद कर दूसरी लाइन पर जाकर दुर्घटनाग्रस्त हो सकती है। हादसों की तस्वीरों से देखकर ऐसा लगता है की एसयूवी की गति ज्यादा तेजी या हादसे की वजह बनी होगी।
डीएसपी संदीप कुमार गुप्ता ने बताया कि तेज रफ्तार एसयूवी की चपेट में आने से दोनों बच्चियों की मौत हुई। दोनों एसयूवी सवार हिरासत में है। शिकायत मिलने पर आगे की कार्रवाई की जाएगी।